सिंधी भाषा दिवस पर सिंधी साहित्यकारों का सम्मान
भोपाल(संतनगर) BDC NEWS
पूज्य सिंधी पंचायत ने अपने सभागार में सिंधी भाषा दिवस पर सिंधी साहित्यकारों का सम्मान किया। सिंधी साहित्य के लिए उनके कार्यों के प्रति आभार जताया। पंचायत अध्यक्ष माधु चांदवानी ने बताया कि 10 अप्रैल, 1967 के ऐतिहासिक महत्व पर प्रकाश डाला, जब भारतीय संसद ने सिंधी भाषा को संविधान की 8वीं अनुसूची में शामिल किया था। उन्होंने इस अवसर पर गर्व व्यक्त किया और सिंधी भाषा को जीवित रखने के लिए पंचायत द्वारा किए गए विभिन्न सांस्कृतिक और पारिवारिक कार्यक्रमों पर जोर दिया। कार्यक्रम में सिंधी साहित्य में उनके योगदान के लिए वरिष्ठ साहित्यकार खीमन यू मूलानी और हास्य कवि व साहित्यकार बल्लू चोइथानी को सम्मानित किया गया।
मूलानी ने भाषा के महत्व पर जोर देते हुए कहा कि “वही भाषा जीवित रहती है जो अपनी जड़ों से जुड़ी रहती है।” उन्होंने विभाजन के बाद सिंधियों द्वारा सामना किए गए विस्थापन और विभिन्न क्षेत्रों में उनकी संस्कृति को अपनाने की चुनौती पर बात की।
चोइथानी ने कहा कि यह दिन सिंधी समाज को अपनी जड़ों से जोड़ता है और भाषा और संस्कृति के प्रति गर्व की भावना को बढ़ावा देता है। उन्होंने सिंधी भाषा को बनाए रखने के लिए परिवारों के भीतर इसके उपयोग को प्रोत्साहित किया, खासकर बच्चों के साथ संवाद करते समय, चाहे वे स्कूल में हिंदी या अंग्रेजी बोलते हों। उन्होंने सिंधी भाषा को जीवित रखने के लिए बच्चों को सिंधी सिखाने का संकल्प लेने के महत्व पर जोर दिया।
इस अवसर पर विजय नगर पंचायत के अध्यक्ष कैलाश शर्मा, महासचिव नंद दादलानी, साहित्यकार कन्हैयालाल मोटवानी, हीरो हिन्दू, राज मनवानी, घनश्याम लालवानी, जेठानंद मंगतानी, माधव पारदासानी और अन्य गणमान्य व्यक्तियों ने भी सिंधी भाषा दिवस पर अपने विचार व्यक्त किए। कार्यक्रम का संचालन उपाध्यक्ष जगदीश आसवानी ने किया, जबकि कोषाध्यक्ष गुलाब जेठानी ने आभार व्यक्त किया। इस अवसर पर हीरो गनवानी, दयाल दोलतानी, नरेश पेसवानी, मनोहर सतानी, राज कुमार थावानी, बबलू टेकचंदानी, परषोत्तम थावानी, माधु घनश्यानी, प्रेम पठानी, बूलचंद वासवानी, मुरली गुरबानी, वासदेव टिलवानी, भगत घनश्याम सहित कई गणमान्य नागरिक उपस्थित थे।
भोपाल डॉट कॉम, संतनगर ब्यूरो