इंदौर में जन्मी दो सिर वाली बच्ची का निधन, 16 दिनों तक जिंदगी से लड़ी जंग

इंदौर में जन्मी दो सिर वाली बच्ची का निधन, 16 दिनों तक जिंदगी से लड़ी जंग

इंदौर: BDC News
महाराजा तुकोजीराव हॉस्पिटल (MTH) में पिछले महीने जन्मी दो सिर वाली बच्ची ने गुरुवार को दम तोड़ दिया। 22 जुलाई को देवास निवासी एक दंपती के घर जन्मी इस बच्ची को जन्म के बाद दो हफ्ते तक स्पेशल न्यूबॉर्न केयर यूनिट (SNCU) में रखा गया था। इसके बाद परिजन डॉक्टरों की सलाह के खिलाफ उसे घर ले गए थे, जहाँ उसकी मृत्यु हो गई।

दुर्लभ मेडिकल स्थिति से जूझ रही थी बच्ची

डॉक्टरों के अनुसार, यह एक बेहद दुर्लभ मेडिकल स्थिति थी, जिसे पैरापैगस डायसेफेलस कहा जाता है। इसमें शरीर एक होता है लेकिन सिर दो होते हैं। शिशु रोग विशेषज्ञ डॉ. प्रीति मालपानी ने बताया कि बच्ची का एक हार्ट खराब था और दूसरे पर दोनों सिरों तक खून पहुँचाने का भारी दबाव था। ऐसे मामलों में जीवित रहने की संभावना 0.1% से भी कम होती है। बच्ची 16 दिनों तक जिंदगी और मौत से संघर्ष करती रही, जो डॉक्टरों के लिए भी एक केस स्टडी बन गया।

सर्जरी संभव नहीं थी

अस्पताल की सुपरिटेंडेंट डॉ. अनुपमा दवे ने बताया कि ऐसी स्थिति आनुवंशिक नहीं होती और न ही इसका मां के स्वास्थ्य से कोई संबंध होता है। यह 50 हजार से 2 लाख शिशुओं में से किसी एक में देखी जाती है। डॉक्टरों ने बच्ची को अलग करने की सर्जरी से इनकार कर दिया था क्योंकि दोनों सिर गर्दन से जुड़े हुए थे, जिससे सर्जरी संभव नहीं थी।

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