राजधानी से बीआरटीएस हटेगा
सेंट्रल रोड डिवाइडर होगा
13 साल पहले 360 करोड़ रूपये से बना बीआरटीएस हटाने का फैसला हो गया है…. लंबे समय से कॉरिडोर को हटाने की मांग उठ रही थी… मुख्यमंत्री, जनप्रतिनिधियों इसे लेकर एक मत हैं…
भोपाल : भोपाल डॉट काम
भोपाल में बीआरटीएस हटाने को लेकर सहमति बन गई है। मुख्यमंत्री डॉ मोहन यादव ने मसले पर विधायकों, महापौर एवं अधिकारियों से चर्चा की। बीआरटीएस की लंबाई के अलग-अलग हिस्सों को चरणबद्ध रूप से हटाने एवं सड़क के समतलीकरण एवं सुगम यातायात के अनुकूल मार्ग के विकास के कार्यों की योजना पर भी बातचीत हुई। इस बैठक के साथ ही लोक निर्माण विभाग द्वारा लेक कॉरीडोर के प्रस्ताव पर भी प्रस्तुतिकरण एवं चर्चा हुई।
बैठक के प्रमुख बिन्दु
- जनप्रतिनिधियों ने कहा कि बीआरटीएस हटाने के निर्णय से व्यस्त मार्गों पर यातायात का दबाव कम हो सकेगा।
- जनप्रतिनिधि इस बात पर भी सहमत हुए कि स्थानीय परिवहन व्यवस्था को अधिक सुविधाजनक बनाया जा सकेगा। संपूर्ण यातायात को सुगम बनाया जाएगा।
- बीआरटीएस के स्थान पर सेंट्रल रोड डिवाइडर बनाने पर सहमति हुई।
बैठक में कौन-कौन रहा मौजूद
बैठक में मंत्री विश्वास सारंग, कृष्णा गौर, विधायक रामेश्वर शर्मा, भगवान दास सबनानी, महापौर मालती राय, मुख्य सचिव वीरा राणा, सीएम के के पीएस राघवेन्द्र सिंह, सचिव विवेक पोरवाल,पीएस नगरी विकास एवं आवास नीरज मंडलोई, प्रमुख सचिव लोक निर्माण सुखवीर सिंह, कमिश्नर डॉ. पवन शर्मा एवं कलेक्टर आशीष सिंह सहित अन्य अधिकारी उपस्थित थे
विधायक ने जताया आभार
हुजूर विधायक रामेश्वर शर्मा ने भोपाल के विकास को लेकर बुलाई बैठक और बीआरटीएस कॉरिडोर हटाने के फैसले पर मुख्यमंत्री डॉ मोहन यादव का आभार जताया है। शर्मा ने कहा था संतनगर के व्यापारी लंबे समय से यह मांग कर रहे थे, कॉरिडोर हटाने का फैसला उनकी मांग पूरी करने वाला है।
सवाल : 360 करोड़ से बने कॉरिडोर पर खर्च राशि के लिए जिम्मेदार कौन ?